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मैनपुुरी।
मुलायम सिंह यादव पर मैनपुरी की जनता ने हमेशा प्यार लुटाया तो नेताजी ने भी कभी उस प्यार का कर्ज चुकाने में कसर नहीं छोड़ी। मैनपुुरी के प्रति मुुलायम के प्रेम का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि वर्ष 2018 में मैनपुरी में सड़क हादसे की सूचना पर मुलायम बीमार होने के बाद भी दौड़े चले आए। सीधे पोस्टमार्टम हाउस और अस्पताल पहुंचकर उन्होंने जनता को ढांढस बंधाया था। तब मुलायम सिंह यादव आजमगढ़ से सांसद थे।
बात 13 जून 2018 की है, एक स्लीपर बस यात्रियों को लेकर जयपुर से आ रही थी। मैनपुरी के थाना दन्नाहार क्षेत्र में गांव कीरतपुर के बस अनियंत्रित होकर पलट गई थी। हादसा इतना भीषण था कि 18 लोगों की जान चली गई थी और 42 घायल हो गए थे। हर तरफ बस चीत्कार ही सुनाई दे रही थी। उन दिनों मुलायम सिंह यादव बीमार थे और लखनऊ में थे। जैसे ही उन्हें मैनपुरी में इतने भीषण हादसे की सूचना मिली तो वह खुद को रोक नहीं पाए। उन्होंने तत्काल मैनपुरी जाने के लिए कहा। फोन पर सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने उनसे बात कर सेहत का हवाला दिया, लेकिन वे नहीं रुके।
लखनऊ से मैनपुरी तक का सफर मुलायम सिंह यादव ने कार से तय किया और अपनों के बीच पहुंचे। सीधे पोस्टमार्टम हाउस पर पहुंचकर मृतकों के घर वालों को ढांढस बंधाया तो अस्पताल में घायलों को भी सांत्वना दी। नेताजी के निर्देश पर ही सपा नेताओं ने मृतकों के शव ले जाने के लिए एंबुलेंस की भी व्यवस्था कराई थी। मृतकों के परिजन को सांत्वना देने के समय नेताजी खुद भी भावुक हो गए थे।
25 लोगों की मौत की बात सुन अंत्येष्टि स्थल पहुंच गए मुलायम
छह फरवरी 2012 को दन्नाहार थाना क्षेत्र के गांव रठेरा में लगुन ले जा रही बस औंछा थाना क्षेत्र में रात को दुर्घटनाग्रस्त हो गई थी। इस हादसे में 25 लोगों की मौत हुई थी। 2012 का विधानसभा चुनाव चल रहा था। मुलायम सिंह की कई सभाएं दूसरे जनपदों में लगी थीं। मुलायम ने इन सभाओं को निरस्त किया और सात फरवरी को गांव रठेरा पहुंच गए। यहां उन्होंने एक साथ जल रहीं सात लोगों की अंत्येष्टि में भी भाग लिया।
मैनपुुरी।
मुलायम सिंह यादव पर मैनपुरी की जनता ने हमेशा प्यार लुटाया तो नेताजी ने भी कभी उस प्यार का कर्ज चुकाने में कसर नहीं छोड़ी। मैनपुुरी के प्रति मुुलायम के प्रेम का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि वर्ष 2018 में मैनपुरी में सड़क हादसे की सूचना पर मुलायम बीमार होने के बाद भी दौड़े चले आए। सीधे पोस्टमार्टम हाउस और अस्पताल पहुंचकर उन्होंने जनता को ढांढस बंधाया था। तब मुलायम सिंह यादव आजमगढ़ से सांसद थे।
बात 13 जून 2018 की है, एक स्लीपर बस यात्रियों को लेकर जयपुर से आ रही थी। मैनपुरी के थाना दन्नाहार क्षेत्र में गांव कीरतपुर के बस अनियंत्रित होकर पलट गई थी। हादसा इतना भीषण था कि 18 लोगों की जान चली गई थी और 42 घायल हो गए थे। हर तरफ बस चीत्कार ही सुनाई दे रही थी। उन दिनों मुलायम सिंह यादव बीमार थे और लखनऊ में थे। जैसे ही उन्हें मैनपुरी में इतने भीषण हादसे की सूचना मिली तो वह खुद को रोक नहीं पाए। उन्होंने तत्काल मैनपुरी जाने के लिए कहा। फोन पर सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने उनसे बात कर सेहत का हवाला दिया, लेकिन वे नहीं रुके।
लखनऊ से मैनपुरी तक का सफर मुलायम सिंह यादव ने कार से तय किया और अपनों के बीच पहुंचे। सीधे पोस्टमार्टम हाउस पर पहुंचकर मृतकों के घर वालों को ढांढस बंधाया तो अस्पताल में घायलों को भी सांत्वना दी। नेताजी के निर्देश पर ही सपा नेताओं ने मृतकों के शव ले जाने के लिए एंबुलेंस की भी व्यवस्था कराई थी। मृतकों के परिजन को सांत्वना देने के समय नेताजी खुद भी भावुक हो गए थे।
25 लोगों की मौत की बात सुन अंत्येष्टि स्थल पहुंच गए मुलायम
छह फरवरी 2012 को दन्नाहार थाना क्षेत्र के गांव रठेरा में लगुन ले जा रही बस औंछा थाना क्षेत्र में रात को दुर्घटनाग्रस्त हो गई थी। इस हादसे में 25 लोगों की मौत हुई थी। 2012 का विधानसभा चुनाव चल रहा था। मुलायम सिंह की कई सभाएं दूसरे जनपदों में लगी थीं। मुलायम ने इन सभाओं को निरस्त किया और सात फरवरी को गांव रठेरा पहुंच गए। यहां उन्होंने एक साथ जल रहीं सात लोगों की अंत्येष्टि में भी भाग लिया।
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