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ताजमहल पश्चिमी गेट स्थित सहेली बुर्ज की छतरी का पिनेकल (शिखर कलश) बंदरों ने तोड़ दिया। लोहे की पुरानी जंग लगी रॉड की जगह स्टेनलेस स्टील की नई रॉड लगाकर पिनेकल की मरम्मत कराई गई है। ताजमहल के अंदर भी छज्जों के पत्थरों पर झूलते बंदर स्मारक को नुकसान पहुंचा रहे हैं।
ताज पर 600 से ज्यादा बंदरों के सक्रिय होने के कारण, इसका बुरा असर स्मारक पर पड़ रहा है। पश्चिमी गेट स्थित सती उन्निसा के मकबरे सहेली बुर्ज पर बंदरों ने छतरी का पिनेकल तोड़ दिया। इसके मुड़ जाने और गिरने की आशंका को देखते हुए एएसआई ने इसकी मरम्मत कराई है। सहेली बुर्ज के बाहर ही पर्यटकों की टिकट चेकिंग और सुरक्षा जांच कतार लगती है।
अधीक्षण पुरातत्वविद डॉ. राजकुमार पटेल ने बताया कि सहेली बुर्ज में बंदरों के कारण पिनेकल मुड़ गया था। इसकी सावधानी से मरम्मत करा दी गई है। पिनेकल के अंदर लोहे की जगह स्टील की रॉड उपयोग की गई है। पत्थरों को लगाने के बाद उस पर कंटीले तार लगाए गए हैं, ताकि बंदर अब दोबारा नुकसान न पहुंचा सकें। ताज में यमुना किनारा की ओर दोनों बुर्जों के पिनेकल और छज्जों के गल चुके पत्थरों को बंदर उछलकूद कर नुकसान पहुंचा रहे हैं।
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