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इसके पीछे बनारस से आए श्रीराम जन्म योगी का शंखनाद अदभुत था। लगातार 10 मिनट तक एक ही स्वर में शंखनाद की गूंज आसपास के लोगों को आकर्षित करती नजर आई। इसके बाद उज्जैन का डमरू तथा बुंदेलखंड की महिलाओं के राई नृत्य ने लोगों का में मोह लिया।
बुंदेलखंड की अपनी भेसभूषा में महिला ए बधाई गायन करते आसपास लोगों के लिए आकर्षण बनी। कच्ची घोड़ी का नृत्य भी लुभाता रहा। ब्रज के कलाकारों ने भी ब्रज संस्कृति का प्रदर्शन किया।
हरियाणा का बीन और मथुरा, वृंदावन के विभिन्न मंदिरों की मंगलियों ने भजन प्रस्तुत किए। स्थानीय लोगों ने विभिन्न राज्यों से आए लोक कलाकारों का पुष्प वर्षा कर अभिनंदन किया।
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