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जिस जमीन पर कब्जा किया गया था, उस जमीन पर पूर्व में मंत्री योगेंद्र उपाध्याय का बोर्ड बनाया गया था
– फोटो : अमर उजाला
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आगरा में करोड़ों की जमीन पर कब्जे का खेल बिल्डर और पुलिस कर दे, ऐसा अकेले संभव नहीं है। इस पूरे गठजोड़ में माननीयों के नाम की भी खूब चर्चा हो रही है। पीड़ित परिवार ने भी एक फोटो पुलिस अधिकारियों को दिखाया, जिसमें विवादित जमीन के गेट पर दक्षिण विधानसभा क्षेत्र से भाजपा के विधायक व कैबिनेट मंत्री योगेंद्र उपाध्याय लिखा है।
दावा किया कि यह गेट पर लिखा गया था। जमीन कब्जाने के बाद इसको मिटा दिया गया। इससे कई सवाल खड़े हो रहे हैं। उधर, इस मामले में कैबिनेट मंत्री योगेंद्र उपाध्याय का कहना है कि वर्ष 2012 के चुनाव में कुछ कार्यकर्ताओं ने जमीन के मालिक से अनुमति लेकर कार्यालय खोला था। यह दो दिन बाद ही बंद हो गया था। इसके अलावा उनका कोई लेना देना नहीं है। कुछ विरोधी बदनाम करने के लिए अफवाह उड़ा रहे हैं।
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