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साइबर क्राइम (सांकेतिक तस्वीर)
– फोटो : अमर उजाला
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दिवाली पर जहां लोगों ने त्योहार मनाने की तैयारी कर ली है, वहीं साइबर अपराधी जाल फैलाने में लगे हैं। गिफ्ट, लॉटरी, इनाम, ऑफर, बोनस प्वाइंट, रिश्तेदार बनकर, मोबाइल रिचार्ज आदि के नाम पर धोखाधड़ी कर रहे हैं। एक बार झांसे में आने पर खाते में रकम जमा करा लेंगे या फिर ओटीपी पूछकर खाता खाली कर देते हैं। बैंक अधिकारी बनकर भी कॉल करते हैं। खाता, डेबिट-क्रेडिट कार्ड बंद होने का झांसा देकर रकम ट्रांसफर कर लेते हैं। साइबर सेल ने सलाह जारी कर किसी भी लालच में नहीं फंसने के लिए सचेत किया है।
इन बातों का रखें ध्यान
– किसी अनजान के कहने पर रिमोट एक्सेस एप जैसे कि एनी डेस्क, एमी एडमिन आदि का प्रयोग न करें।
– सोशल मीडिया प्लेटफार्म पर अनजान व्यक्तियों से प्राप्त फ्रेंड रिक्वेस्ट नहीं स्वीकार करें।
– अनजान नंबरों से प्राप्त वीडियो कॉल को स्वीकार नहीं करें।
– मैसेज, ईमेल या अन्य माध्यम से प्राप्त लिंक को ओपन नहीं करें।
– एक ही पासवर्ड का प्रयोग विभिन्न सेवाओं, वेबसाइट और ऐप में न करें।
– किसी भी पॉपअप एंड को रिस्पांड नहीं करें, असुरक्षित और फेक वेबसाइट पर जाने से बचें।
– काम होने के बाद अपने ऑनलाइन एकाउंट्स को हमेशा लॉग आउट करें।
– ईमेल अटैचमेंट के जरिये आए किसी सॉफ्टवेयर को अपने पीसी में इंस्टॉल करने से बचें।
– अनजान व्यक्ति के कॉल कर लाटरी, इनाम, ऑफर आदि की कहने पर झांसे में नहीं आएं।
– अपने क्रेडिट कार्ड, डेबिट कार्ड की जानकारी किसी व्यक्ति को नहीं दें। फोन पर खाते की जानकारी नहीं दें।
– अपनी निजी और बैंकिंग जानकारी या ओटीपी को किसी के साथ फोन, ईमेल और एसएमएस के जरिये शेयर नहीं करें।
– फ्री वाईफाई और असुरक्षित वाईफाई का इस्तेमाल करने से बचें और बैंकिंग और शॉपिंग के लिए इसका इस्तेमाल नहीं करें।
फर्जी लोन एप का झांसा
-ऑनलाइन इन्स्टेंट लोन लेते समय सावधान रहें, बहुत से फर्जी लोन एप्लीकेशन या मोबाइल ऐप ऐसे हैं, जो कि 15 हजार रुपये तक का लोन आसानी से उपलब्ध करा देते हैं।
– यह लोन एप आपको व्हाट्सएप मैसेज या टेक्स्ट मैसेज, विज्ञापन या ऑनलाइन सर्च के जरिये प्राप्त होने वाले लुभावने लिंक से मिलते हैं। जब हम इन लिंक पर क्लिक करते हैं तो यह लोन एप प्ले स्टोर से या एपीके फाइल के माध्यम से आपके फोन में इंस्टाल या डाउनलोड हो जाते हैं।
– डाउनलोड या इंस्टाल होते समय ये आपके फोन के कॉन्टेक्ट, फाइल, कैमरा, लोकेशन, गैलरी, फोटो, वीडियो आदि को एक्सेस करने की अनुमति ले लेते हैं।
जागरूकता से ही बचाव संभव
एसपी सिटी विकास कुमार ने बताया कि जागरूकता से ही साइबर अपराध से बचाव संभव है। किसी तरह का साइबर अपराध होने पर नेशनल साइबर क्राइम हेल्पलाइन 1930 पर कॉल करें।
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