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अवैध खनन के आरोपी को देने के लिए रक्तदान करते पुलिसकर्मी
– फोटो : अमर उजाला
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इरादतनगर में खनन माफिया की घेराबंदी के दौरान मुठभेड़ में घायल ट्रैक्टर चालक की जान बचाने के लिए पुलिस ने ड्यूटी के साथ इंसानियत का फर्ज भी निभाया। चिकित्सकों ने सात यूनिट रक्त की जरूरत बताई थी। इस पर न सिर्फ छह पुलिसकर्मियों ने रक्त दिया, बल्कि एक परिजन की तरह दवा का इंतजाम भी किया। इससे घायल की जान बच गई।
सीओ खेरागढ़ महेश कुमार ने बताया कि इरादतनगर क्षेत्र के सूरजपुरा रोड पर पुलिस मुठभेड़ में मुरैना निवासी आकाश गुर्जर के पेट में नाभि के पास गोली लगी थी। एक गोली जांघ में भी लगी थी। उसके खून निकल रहा था। पुलिस ने उसे उठाया। इसके बाद उसे एसएन मेडिकल कालेज इमरजेंसी पहुंचा दिया। घटना की जानकारी पर एसएसपी प्रभाकर चौधरी, एसपी सत्यजीत गुप्ता भी आ गए। पुलिस ने घायल के परिजन के बारे में पता किया। कॉल किया गया, लेकिन कोई नहीं आया। आकाश की हालत गंभीर थी।
डॉक्टर ने सात यूनिट रक्त की आवश्यकता बताई थी। यह बात सुनते ही पुलिस अधिकारियों ने रक्त की व्यवस्था करने के निर्देश दिए। चिकित्सक ने बताया कि घायल का ब्लड ग्रुप ए पॉजीटिव है। इस पर वायरलेस पर मैसेज किया गया। इसके साथ ही व्हाट्सएप ग्रुप पर भी मैसेज किया गया। ए पाजीटिव ब्लड ग्रुप वाले पुलिसकर्मी की तलाश की। देहात ही नहीं शहर के थानों को भी जानकारी दी गई। इस पर सुबह दस बजे आठ पुलिसकर्मी पहुंच गए।
अब भी पुलिस कर रही देखभाल
थाना इरादतनगर में तैनात हेड कांस्टेबल दिनेश कुमार, सिपाही शिवम सिंह, दीपक कुमार, नितिन कुमार, एसआई सिद्धार्थ कुमार और थाना ताजगंज के सिपाही रवि कुमार ने रक्तदान दिया। एक तरफ पुलिसकर्मियों ने रक्त दिया, उधर, चिकित्सकों ने घायल को आपरेशन शुरू कर दिया। इससे उसकी जान बच गई। एक घंटे बाद चिकित्सकों ने राहत की सांस ली। बाद में घायल के लिए दवाओं की भी जरूरत थी। इस पर भी पुलिस इंतजाम में लगी रही। घटना की जानकारी पर परिजन दोपहर में आ सके। दो पुलिसकर्मी रिजर्व में रखे गए हैं। रक्त की जरूरत होने वह आ जाएंगे।
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