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कासगंज। पटियाली विधानसभा क्षेत्र में 2022 के विधानसभा चुनावों में भाजपा को मिली पराजय को लोकसभा चुनाव में जीत में बदलने के लिए बाढ़ आपदा पर अपना फोकस कर दिया है। पार्टी की मजबूती के लिए सीएम के द्वारा बरौना में गंगा की धारा के परिवर्तन व मजबूत पक्के बांध बनाने की घोषणा संजीवनी बन सकती है। सीएम योगी आदित्यनाथ के दौरे के बाद पटियाली के लोगों को बाढ़ की समस्या के समाधान की उम्मीद जगी है।
पटियाली में भाजपा पहली बार राम मंदिर लहर में 1991 में इस सीट पर कमल खिलाने में कामयाब हुई थी। इसके बाद 1993 में हुए उप चुनाव में भाजपा ने इस सीट को फिर से जीत लिया। इसके बाद 1996 में सपा ने यह सीट भाजपा से छीन ली। 1999 के चुनाव में भाजपा फिर से इस सीट पर चुनाव जीती। इसके बाद इस सीट पर 2002 व 2007 में बसपा का कब्जा हो गया। वर्ष 2012 में यह सीट सपा के पाले में चली गई। 2017 में मोदी लहर में इस सीट पर फिर से भाजपा कब्जा करने में सफल हो गई।
विधानसभा चुनाव 2022 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और सीएम योगी ने बड़ी जनसभा को संबोधित किया। जिससे भाजपा इस सीट को जीत कर जिले की तीनों सीटों पर कब्जे के इतिहास को दोहरा सके, लेकिन ऐसा हो नहीं पाया। भाजपा प्रत्याशी को पराजय का सामना करना पड़ा। बरौना गांव में पिछले 14 महीने से कटान का संकट बना हुआ है। सीएम योगी आदित्यनाथ ने पटियाली के बरौना में आना तय किया और बाढ़ की आपदा झेल रहे लोगों को संदेश दिया कि बाढ़ की आपदा में सरकार किसानों के साथ खड़ी है। इस आपदा से बचाने के लिए गंगा की धारा को परिवर्तित करने और बांध बनाने की घोषणा की। क्षेत्र के लोगों को फसलों की क्षति का मुआवजा दिलाए जाने के लिए आश्वस्त किया। सीएम की घोषणा से लोग काफी प्रभावित हैं और वे खुशी जाहिर कर रहे हैं।
1991 राजेंद्र सिंह चौहान अमीर भाजपा
1993 रज्जनपाल सिंह चौहान भाजपा
1996 देवेंद्र सिंह यादव
1999 रज्जनपाल सिंह चौहान भाजपा
2002 राजेंद्र सिंह चौहान अमीर बसपा
2007अजय यादव बसपा
2012 जीनत खान सपा
2017 मततेश शाक्य भाजपा
2022- नादिरा सुलतान सपा
बोले पूर्व विधायक
– भाजपा के पूर्व विधायक ममतेश शाक्य का कहना है कि पटियाली के बरौना गांव के लोगों की बाढ़ और कटान की बड़ी समस्या है। इस इलाके में बरौना का बांध बनने और धारा परिवर्तित होने से बरौना ही नहीं आस पास के गांव लोग भी गंगा की बाढ़ से सुरक्षित होंगे। सीएम ने पटियाली के लोगों की बड़ी मदद की घोषणा की है। जिससे क्षेत्र के लोगों को लाभ मिलेगा और बाढ़ प्रभावित इलाकों की अन्य बांधों की समस्याओं का समाधान होगा। मुख्यमंत्री को अन्य बांधों के प्रस्ताव सौंपे गए हैं।
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