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मैनपुरी। जेल में बंदियों के उत्पीड़न से एक बंदी मानसिक रूप से बीमार हो गया है। बंदी के पिता की शिकायत पर विधिक सेवा प्राधिकरण के सचिव और किशोर न्याय बोर्ड के प्रधान मजिस्ट्रेट ने जेल पहुंचकर जांच की। बंदी की हालत देखने के बाद जेल अधीक्षक को बंदी का बेहतर उपचार कराकर एक सप्ताह में रिपोर्ट देने के निर्देश दिए हैं। थाना बरनाहल के गांव आलमपुर देहा निवासी विमल कुमार दहेज हत्या के मामले में 21 सितंबर 2021 से जेल में बंद है। उसके पिता जोर सिंह की जमानत हो चुकी है। जोर सिंह ने जिला विधिक सेवा प्राधिकरण में 20 अप्रैल 2023 को शिकायत की। शिकायत में कहा कि विमल की बैरक के शातिर बंदी उसका उत्पीड़न कर रहे हैं। इससे वह मानसिक रूप से बीमार हो गया है। प्राधिकरण सचिव ने जेल अधीक्षक से शिकायत के संबंध में आख्या 21 अप्रैल को मांगी। जेल अधीक्षक ने 25 अप्रैल को प्राधिकरण में आख्या भेज दी।
बुधवार को शिकायत की जांच करने के लिए जिला विधिक सेवा प्राधिकरण की सचिव नम्रता सिंह और किशोर न्याय बोर्ड के प्रधान मजिस्ट्रेट एसके चौधरी जेल पहुंचे। न्यायिक अधिकारियों के निर्देश पर बंदी विमल कुमार को बैरक से बाहर लाया गया। दो बंदी उसे गोद में लेकर आए। न्यायिक अधिकारियों केे बार-बार पूछने पर भी बंदी विमल न्यायिक अधिकारियों को अपने बारे में कुछ नहीं बता सका।
बंदी की हालत देखने के बाद प्राधिकरण सचिव ने जेल अधीक्षक को निर्देश दिए कि बंदी विमल का दूसरे जिले के किसी अच्छे अस्पताल में बेहतर उपचार कराया जाए। एक सप्ताह में उपचार कराकर विस्तृत आख्या प्राधिकरण कार्यालय में भेजी जाए। उपचार कराने और रिपोर्ट भेजने में लापरवाही न की जाए।
बैरक में तांत्रिक किया करने की शिकायत
विमल के पिता जोर सिंह ने शिकायत में कहा कि जेल के शातिर बंदी विमल की बैरक में ही तंत्र क्रिया करते हैं। एक बंदी का नाम बताते हुए उन्होंने कहा कि उसके द्वारा बैरक हवन आदि करता है। उसकी शिकायत पर जेल अधिकारियों ने कार्रवाई करना तो दूर सुनवाई तक नहीं की है। इसके अलावा बीड़ी में गांजा भरकर अन्य बंदियों को नशा कराते हैं। तंत्र क्रिया के चलते ही विमल मानसिक रूप से बीमार हो गया है।
-जेल का बंदी विमल बीमार चल रहा है। उसका जेल अस्पताल में उपचार भी कराया गया है। बुधवार को न्यायिक अधिकारियों ने निरीक्षण करके बेहतर उपचार कराने के निर्देश दिए हैं।
-कोमल मंगलानी, जेल अधीक्षक।
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