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By: Inextlive | Updated Date: Tue, 03 Jan 2023 07:05:50 (IST)
नए साल के दूसरे दिन सोमवार को शीतलहर ने शहर को आगोश में ले लिया. सुबह कोहरा छाया रहा. दिनभर सूर्य देव के दर्शन नहीं हो सके. गलन से हाड़ कंपकंपा रहे थे. एक्सप्रेस वे और हाईवे पर तो घने कोहरे की सफेद चादरें तनी रही. इससे वाहन धीमी रफ्तार से चल सके. अनहोनी की आशंका के चलते तमाम चालकों ने वाहनों को सड़क किनारे खड़ा कर लिया था. सरकारी विभागों में ठंड दूर कर करने के लिए कर्मचारियों ने हीटर का सहारा लिया तो बाजारों में व्यापारी और लोग अलाव तापते दिखे.
आगरा(ब्यूरो)। सोमवार सुबह से ही कोहरा छाया रहा। दिन चढऩे के साथ कोहरा छंटा, लेकिन धूप के दर्शन नहीं हुए। इस दौरान मैक्सिमम टेम्प्रेचर 18.8 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया जो सामान्य से तीन डिग्री कम था। अचानक से मैक्सिमम टेम्प्रेचर में आई इस गिरावट का असर भी दिखा। लोग दिन में भी कंपकंपाते हुए दिखे। शहर में जगह-जगह दिन में अलाव जलते हुए दिखे। वहीं मिनिमम टेम्प्रेचर 8.6 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया, जो सामान्य से दो डिग्री अधिक रहा।
अभी नहीं मिलेगी राहत
मौसम विभाग के अनुसार अभी कड़ाके की सर्दी से राहत मिलने के आसार नहीं है। अगले कुछ दिन भी इसी तरह सर्द रहेंगे। कोहरा छाएगा। इसके साथ ही टेम्प्रेचर में भी गिरावट दर्ज की जाएगी। जिससे ठिठुरन और गलन बढ़ेगी।
एक्सप्रेस वे पर थमे वाहन
कड़ाके की ठंड में जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया। एक्सप्रेस वे पर दिनभर कोहरा छाया रहा। सुबह तो थोड़ी दूर तक का नहीं दिख रहा था। अनेक वाहन सड़क किनारे खड़े थे। 11 बजे के बाद वाहन चले, लेकिन धीमी गति से। आसपास के क्षेत्र में लोग लकड़ी जलाकर आग पर तापते दिखे।
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ठंड दूर करने को जलाए अलाव
सोमवार को ठंड से बचाव के लिए अनेक दुकानदारों द्वारा कागज व लकड़ी जलाकर आग पर तापते नजर आए। शाहगंज, हॉस्पिटल रोड, लोहामंडी, प्रतापनगर, बोदला आदि स्थानों पर लोग अलाव जलाते दिखे।
अभी इस तरह रहेगा मौसम
मैक्सिमम टेम्प्रेचर मिनिमम टेम्प्रेचर फोरकास्ट
3 जनवरी 8 17 सुबह कोहरा छाएगा
4 जनवरी 7 19 सुबह कोहरा छाएगा
5 जनवरी 6 19 सुबह कोहरा छाएगा
6 जनवरी 6 19 सुबह कोहरा छाएगा
7 जनवरी 6 20 कोहरा
8 जनवरी 6 20 कोहरा
दिन में आज सबसे अधिक गलन महसूस हो रही है। शायद ये सीजन का सबसे अधिक ठंडा दिन है।
– दीपक कुमार
सुबह कोहरा छाया रहा। दिनभर ठिठुरन के बाद शाम होते ही गलन बढऩे लगी। अलाव के पास बैठकर ही राहत मिली.
– शशि कुमार
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