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शिव-पार्वती की प्रतिमा
– फोटो : अमर उजाला
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आगरा के मलपुरा कस्बे के गांव कबूलपुर में रविवार को मकान निर्माण के लिए हो रही खुदाई के दौरान प्राचीन प्रतिमा निकली थी। रविवार को पुरातत्व विभाग की तीन सदस्यीय टीम ने मूर्ति की प्राचीनता की जांच की। टीम के सदस्यों नीरज कुमार वर्मा, नरेंद्र सिंह राणा व जितेंद्र सिंह ने बताया कि उमा-महेश्वर यानी महादेव-पार्वती की मूर्ति है, जो 18वीं सदी की है।
क्षरित हो गई है मूर्ति
उन्होंने बताया कि मूर्ति लंबे समय तक पानी में पड़ी रही, इस वजह से क्षरित हो गई है। मूर्ति बफ स्टोन से बनी है जो राजस्थान में मिलता है। ग्रामीणों में चर्चा है कि यहां से थोड़ी दूर एक वाणगंगा नदी हुआ करती थी, जो अब अस्तित्व में नहीं है। यह नदी में पड़ी रही होगी। ग्रामीणों का कहना है कि जहां मूर्ति निकली है, वहां मंदिर बनवाया जाएगा।
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