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जामा मस्जिद में शहर मुफ्ती से खींचतान
– फोटो : अमर उजाला
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आगरा के बिजलीघर स्थित शाही जामा मस्जिद में रविवार को शहर मुफ्ती अब्दुल खुबैब रूमी और इंतजामिया कमेटी के बीच चौपाल लगाने के मुद्दे पर विवाद हो गया। इंतजामिया के लोग इसका विरोध कर रहे हैं। दोपहर को शहर मुफ्ती ने चौपाल के लिए लोगों को बुलाया तो कमेटी के लोगों ने उनके साथ अभद्रता कर दी। इस पर शहर मुफ्ती के समर्थन में भी बड़ी संख्या में लोग पहुंच गए। सूचना पर एसीपी छत्ता फोर्स के साथ पहुंचे। लोगों को शांत कराया। इस मामले में दोनों ओर से तहरीर दी गई हैं। पुलिस मामले की जांच कर रही है।
घटना दोपहर रविवार करीब ढाई बजे की है। शहर मुफ्ती अब्दुल खुबैब रूमी जामा मस्जिद परिसर में स्थित अपने कार्यालय में बैठ कर समाज के लोगों के धर्म से संबंधित मामले सुनकर सुलझाते हैं। वह समाज के लोगों की समस्याओं के हल शरीयत की रोशनी में सुनाते हैं। इसको लेकर 35-40 लोग परिसर में बैठे थे। इसी बीच इंतजामिया कमेटी के शरीफ काले, हाजी पठान आदि ने चौपाल नहीं लगाने की चेतावनी दी।
ये है आरोप
आरोप है कि उन्होंने शहर मुफ्ती से गाली-गलौज और अभद्रता की। दफ्तर खाली करने का फरमान सुना दिया। इसे लेकर विवाद हो गया। समाज के लोगों ने कमेटी के लोगों का विरोध किया। हंगामा बढ़ने पर शहर मुफ्ती वहां से चले गए। बवाल की सूचना पर एसीपी आरके सिंह और सुकन्या शर्मा पुलिस के साथ मौके पर पहुंचे। उन्होंने लोगाें को शांत कराया। दूसरी ओर, इस मुद्दे पर कलक्ट्रेट के पास मस्जिद लश्कर खां पर आयोजित बैठक में राष्ट्रीय सर्वदलीय मुस्लिम एक्शन कमेटी के अध्यक्ष हाजी जमीलउद्दीन कुरैशी, हाजी बिलाल, अली शान आदि ने मुफ्ती से अभद्रता पर कार्रवाई की मांग की। एसीपी छत्ता आरके सिंह ने बताया कि दोनों पक्ष की ओर से तहरीर दी गई है। जांच के बाद कार्रवाई की जाएगी।
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शहर मुफ्ती द्वारा नई परंपरा शुरू करने का किया विरोध
शाही जामा मस्जिद इंतजामिया कमेटी के पदाधिकारियों शरीफ काले आदि का पुलिस से कहना था कि शहर मुफ्ती हर रविवार तकरीर करने की नई परंपरा शुरू कर रहे थे। इसका विराेध किया गया था। वर्ष 1986 में तकरीर को लेकर विवाद हो गया था। मस्जिद परिसर में गोली चलने पर तीन लोग घायल हो गए थे। इसके बाद तकरीर बंद कर दी गई थी।
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