[ad_1]
नकली दवा (सांकेतिक)
– फोटो : संवाद
विस्तार
उत्तर प्रदेश के आगरा में नकली-नशे की दवाओं का कारोबार खूब फल-फूल रहा है। इसके बावजूद दवाओं का लाइसेंस जारी करने वाला स्वास्थ्य विभाग ही नहीं पुलिस भी नींद से नहीं जाग रही है। एंटी नारकोटिक्स टास्क फोर्स ने जगदीशपुरा और सिकंदरा में फैक्टरी पकड़ने के बाद नकली व नशे की दवाओं के तीन ब्लैक स्पॉट चिह्नित किए हैं। इन इलाकों के बड़े कारोबारियों पर नजर रखी जा रही है।
इनके अवैध कारोबार से जुड़े होने के इनपुट के बाद टीम सक्रिय हो गई है। बिचपुरी में एक साल से फैक्टरी संचालित थी। सिकंदरा में भी छह महीने से फैक्टरी चल रही थी। अब सवाल उठता है कि पुलिस का स्थानीय सूचना तंत्र क्या कर रहा था ? स्वास्थ्य विभाग की टीम कहां थी ? एएनटीएफ ने छापेमारी की। इसके बाद करोड़ों का अवैध कारोबार पकड़ा गया।
यह भी पढ़ेंः- ज्योति मौर्य को इससे लेनी चाहिए सीख: गरीब प्रेमी को लड़की ने पढ़ाया, सरकारी नौकरी लगी; फिर भी नहीं बदला प्रेमी
[ad_2]
Source link